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BRICS Summit 2021 : कल ब्रिक्स सम्मेलन की अध्यक्षता करेंगे पीएम मोदी

ब्रिक्स सम्मेलन की अध्यक्षता पीएम मोदी आज करेंगे। कई महत्वपूर्ण मुद्दों के साथ अफगानिस्तान के हालात पर चर्चा होने की पूरी संभावना है। ब्रिक्स देशों में कोरोना महामारी को लेकर भी आपस में जानकारी का आदान-प्रदान किया जा सकता है।

नई दिल्ली। कोरोना महामारी के दौर में कई वैश्विक सम्मेलन भी ऑनलाइन हो रहे हैं। ब्रिक्स सम्मेलन भी कल डिजिटल माध्यम से होगा। इसमें पांच देश ब्राजील, रूस, चीन, भारत और दक्षिण अफ्रीका के केंद्रीय प्रमुख हिस्सा लेंगे। इसकी अध्यक्षता भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करेंगे। गौर करने योग्य यह भी है कि प्रधानमंत्री मोदी दूसरी बार ब्रिक्स शिखर सम्मेलन की अध्यक्षता करेंगे। इसके पहले वर्ष 2016 में उन्होंने गोवा शिखर सम्मेलन की अध्यक्षता की थी।

बता दें कि ब्राजील, रूस, चीन, भारत और दक्षिण अफ्रीका के एक समूह को ब्रिक्स कहा जाता है। इसका हर साल वार्षिक शिखर सम्मेलन होता है। भारत वर्ष 2021 में ब्रिक्स की अध्यक्षता कर रहा है। इस बैठक में ब्राजील के राष्ट्रपति जाइर बोलसोनारो, रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, चीन के राष्ट्रपति शी चिनपिंग और दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामाफोसा उपस्थित रहेंगे। जिस प्रकार के हालात हैं, उसके बाद आधार पर कहा जा सकता है कि इस महत्वपूर्ण बैठक में अफगानिस्तान की ताजा स्थिति पर चर्चा होने की उम्मीद है। तालिबान ने वहां अपनी नई सरकार की घोषणा कर दी है।

भारत के प्रधानमंत्री कार्यालय की ओर से जो जानकारी साझा की गई है, उसके अनुसार भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल, न्यू डेवलपमेंट बैंक के अध्यक्ष मार्कोस ट्रॉयजो, ब्रिक्स बिजनेस काउंसिल के अस्थायी अध्यक्ष ओंकार कंवर और ब्रिक्स विमेन्स बिजनेस एलायंस की अस्थायी अध्यक्ष डॉ. संगीता रेड्डी इस मौके पर शिखर सम्मेलन में उपस्थित राजाध्यक्षों के सामने अपने-अपने दायित्वों के तहत साल भर में किये काम काम का ब्योरा प्रस्तुत करेंगे।

इस बार शिखर सम्मेलन की विषयवस्तु ‘‘ब्रिक्स/15ः अंतर-ब्रिक्स निरंतरता, एकजुटता और सहमति के लिये सहयोग है। पीएमओ की ओर से यह भी बताया गया है कि अपनी अध्यक्षता में भारत ने चार प्राथमिक क्षेत्रों का खाका तैयार किया है। इन चार क्षेत्रों में बहुस्तरीय प्रणाली, आंतक विरोध, सतत विकास लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिये डिजिटल और प्रौद्योगिकीय उपायों को अपनाना तथा लोगों के बीच मेल-मिलाप बढ़ाना शामिल है।

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