नई दिल्ली। खूब चर्चा में रही हैं नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मलाला यूसुफ़ज़ई। मलाला की उम्र कम है, पर काम बड़े-बड़े। मलाला महिला अधिकारों के लिए लड़ती हैं। आपको याद हो कि 2012 में मलाला, जो पाकिस्तान की जानी-मानी महिला अधिकार कार्यकर्ता हैं को तालिबान चरमपंथियों ने सिर में गोली मार दी थी जिसके बाद उन्हें इलाज के लिए बर्मिंघम लाया गया और तब से वो वहीं रह रही हैं। अब खबर है कि मलाला ने निकाह रचा लिया है।
इसकी जानकारी स्वयं मलाला ने ट्विटर से दी। आप भी पढ़िए।
Today marks a precious day in my life.
Asser and I tied the knot to be partners for life. We celebrated a small nikkah ceremony at home in Birmingham with our families. Please send us your prayers. We are excited to walk together for the journey ahead.
📸: @malinfezehai pic.twitter.com/SNRgm3ufWP— Malala (@Malala) November 9, 2021
बता दें कि लड़कियों की शिक्षा के लिए सबसे बड़े चेहरे के रूप में उभरकर आई मलाला यूसुफजई को साल 2014 में नोबेल शांति पुरस्कार मिल चुका है। इस उपलब्धि के बाद पूरी दुनिया में उनके चाहने वाले हो गए थे। कई लोगों ने अपनी बेटियों का नाम तक मलाला रखा और किस्से सुनते-सुनाते। वह लड़कियों की शिक्षा और अधिकारियों के लिए मानो स्वयंभू ब्रांड एंबेसेडर बन गई।
गौार करने योग्य यह भी है कि अक्टूबर 2012 में पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के स्वात की घाटी में जिस समय मलाला अपनी साथियों के साथ स्कूल जा रही थीं, उस समय तालिबानियों ने उनकी बस को रोक लिया था। एक बंदूकधारी ने मलाला से उनका नाम पूछकर सिर में गोली मारी थी। इसके बाद से मलाला मानव अधिकारों की ग्लोबल सिंबल बन गई और खासतौर पर लड़कियों की शिक्षा के लिए एक मुखर कैंपेनर के रूप में सामने आईं।