नई दिल्ली। त्यौहार के मौसम में दिल्ली पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की है। उत्तर पूर्वी जिला पुलिस ने ऑपरेशन अंकुश के तहत 50 हजार के इनामी बदमाश समीर को दबोच लिया है। समीर के खिलाफ भारतीय दंड संहिता के कई धाराओं में प्राथमिकी दर्ज की गई थी। इसकी जानकारी उत्तर पूर्वी जिला पुलिस के उपायुक्त संजय कुमार सेन की ओर से दी गई है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, 42 वर्षीय समीर पुत्र अजमेर खान निवासी उत्तर घोंडा के सुभाष विहार का निवासी है। वह सत्ते गैंग का सदस्य माना जाता हैर और नामी स्नैचर है। दिल्ली पुलिस ने इसके खिलाफ पहले भी कई मामलों में प्राथमिकी दर्ज किया हुआ है। तभी पुलिस की ओर से इस पर 50 हजार का इनाम घोषित किया गया था।
पुलिस कार्रवाई की जानकारी देते हुए बताया गया कि समीर एक हताश और सक्रिय अपराधी है, जिसमें चेन स्नैचिंग और अन्य आपराधिक घटनाओं में कई शामिल हैं। उसे पकड़ने के लिए कई पुलिस टीमों का गठन किया गया था और ये टीमें उसे पकड़ने के लिए अथक प्रयास कर रही थीं। तकनीकी निगरानी के साथ-साथ मानव खुफिया को एसआई अखिल की अध्यक्षता वाली टीम एएटीएस/एनईडी में और उसके बाद नियोजित किया गया था और इसमें एसआई मनोज, एचसी राजदीप, एचसी विपिन, कॉन्स्ट शामिल थे। नितिन, कॉन्स्ट. एसीपी/ऑप्स की देखरेख में पावित और कॉन्स्ट दीपक को खजूरी क्षेत्र में अपराधी की गतिविधि के बारे में सुराग मिलता है। इसी के तहत 31-10-21 को पूर्वाहन करीब 1 बजे उस क्षेत्र में जाल बिछाया गया और कुछ देर बाद टीम को स्थान पर एक संदिग्ध स्कूटी दिखाई दी. स्कूटी की डिटेल व्हीकल स्कैन एप से चेक की गई तो वह चोरी की निकली।
टीम को विशेष जानकारी थी कि समीर चोरी की स्कूटी/वाहन का इस्तेमाल अपराध में करता है, इसलिए टीम वहां इंतजार करती रही। कुछ देर बाद मुंह और हेलमेट वाला एक व्यक्ति वहां आया और स्कूटी स्टार्ट करते समय कॉन्स्ट ने रुकवा दिया। नितिन। उस व्यक्ति ने भागने की कोशिश की लेकिन एक छोटी सी झड़प के बाद उसे पकड़ लिया गया और तुरंत टीम के अन्य सदस्यों ने उसे काबू कर लिया। बाद में, व्यक्ति की पहचान समीर पुत्र अजमेर खान निवासी सुभाष विहार उत्तर घोंडा भाजापुरा उम्र 42 वर्ष के रूप में हुई। उसकी सरसरी तलाशी लेने पर उसके पास से 10 जिंदा कारतूसों से भरी दो (2) सेमी-ऑटोमैटिक पिस्टल, 3 चोरी के मोबाइल फोन बरामद किए गए। वह जिस स्कूटी पर सवार था, वह भी पीएस शाहदरा से एफआईआर संख्या 00609639 आईपीसी की धारा 379 आईपीसी दिनांक 30.03.21 के तहत चोरी हुई पाई गई थी।