केंद्रीय गृहमंत्रालय की ओर से देश के 10 सर्वश्रेष्ठ पुलिस स्टेशन की सूची जारी की गई है। इस बार दिल्ली के लिए पुलिस स्टेशन को इस सूची में शामिल नहीं किया गया है। इसको लेकर कुछ लोग दिल्ली पुलिस पर सवाल भी उठाने लगे हैं।
ताजा जानकारी में भारत सरकार प्रतिवर्ष देश में बेहतर प्रदर्शन करने वाले पुलिस थानों का चयन करती है ताकि उनके काम-काज को प्रभावी बनाने की दिशा में प्रोत्साहित कर उनके बीच स्वस्थ प्रतिस्पर्धा विकसित की जा सके। 2020 तक देश के शीर्ष 10 पुलिस स्टेशनों की घोषणा की है। ये हैं- नोंगपोकसेमई (थौबल, मणिपुर), AWPS-सुरमंगलम (सलेम सिटी, तमिलनाडु), खरसांग (चांगलांग, अरुणाचल प्रदेश), झिलमिल, भैया थाना (सूरजपुर, छत्तीसगढ़)। ), सुंगेम (दक्षिण गोवा, गोवा), कालीघाट, (उत्तर और मध्य अंडमान, अंडमान और निकोबार द्वीपसमूह), प्योंग, (पूर्वी जिला, सिक्किम), कांठ, (मुरादाबाद, उत्तर प्रदेश), खानवेल, (दादरा और नगर हवेली) , जमुनिकुंता टाउन पीएस (करीमनगर, तेलंगाना)
गृह मंत्रालय ने इस वर्ष चुनौतीपूर्ण स्थितियों के बीच इस वर्ष के सबसे बेहतर पुलिस थानों के लिए सर्वेक्षण किया था। कोरोना महामारी की वजह से आवागमन संबंधी विभिन्न प्रतिबंधों के मद्देनजर सुदूरवर्ती क्षेत्रों में स्थित पुलिस थानों तक पहुंच पाना काफी कठिन कार्य रहा है। सरकार के दिशा-निर्देशों के अनुरूप ही यह सर्वेक्षण करवाया गया। केन्द्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह ने कहा है कि देश के हजारों पुलिस थानों में से जिन थानों का चयन किया गया है। वे छोटे शहरों और ग्रामीण क्षेत्रों में हैं और जिन थानों को शीर्ष 10 थानों की श्रेणी में रखा गया है यह बात उनके लिए भी सत्य है। यह दर्शाता है कि संसाधनों की उपलब्धता एक अहम कारक है, लेकिन सबसे अधिक अहम बात हमारे पुलिस जवानों की प्रतिबद्धता और उनकी ईमानदारी है जिसकी वजह से वे अपराध की रोकथाम कर देश के प्रति सेवा करते हैं।
देश के 16,671 पुलिस थानों में से आंकड़ों के विश्लेषण, प्रत्यक्ष अवलोकन और जनता से मिली प्रतिक्रिया के आधार पर इन शीर्ष 10 थानों का चयन का मकसद था। प्रत्येक राज्य में सबसे बेहतर पुलिस थानों की सूची बनाने के बाद ही यह रैंकिंग प्रक्रिया शुरू की गई जो इन विषयों पर आधारित है।