कैदियों के लिए हरियाणा में होगा अपना जेल रेडियो

नई दिल्ली। नया साल के साथ नया काम भी हो, तो लोगों को अच्छा लगता है। आम जनजीवन में साल 2021 कैसा होगा, अभी कहा नहीं जा सकता है। लोग अभी भी कोरोना महामारी के डर से उबरे नहीं है। लेकिन, हरियाणा में कैदियों के लिए प्रशासन की ओर से नई शुरुआत की गई है। अब वहां कैदियों का अपना रेडियो स्टेशन होगा। इसे नाम दिया गया है – टीजेआर यानी ‘तिनका जेल रेडियो’।

प्राप्त जानकारी के अनुसार, इस प्रकार के पहले रेडियो स्टेशन की शुरूआत सेंट्रल जेल अंबाला, जिला जेल पानीपत और जिला जेल फरीदाबाद से की जाएगी। तैयारी लगभग पूरी कर ली गई है। इस संबंध में गैर सरकारी संगठन ‘तिनका तिनका’ की संस्थापक डॉ. वर्तिका नन्दा की ओर से कहा गया है कि दिसंबर में ऑडिशन के बाद इन तीनों जेलों के 21 बंदियों का जेल रेडियो के लिए चयन हुआ था। इनमें पानीपत के 6, अंबाला के 6 और फरीदाबाद जेल के 10 बंदी थे। इन 22 बंदियों में फरीदाबाद जेल की 5 महिला बंदी भी शामिल हैं। उन्होंने बताया कि ट्रेनिंग का मकसद इन बंदियों को रेडियो की जरूरत और उसके महत्व को समझाते हुए रेडियो के मुताबिक कार्यक्रम बनाने के लिए तैयार करना था। यह ट्रेनिंग तिनका तिनका की संस्थापक डॉ. वर्तिका नन्दा ने दी है। वर्तिका नन्दा के मुताबिक, “ माइक को पकड़े यह बंदी अब अपनी नई पहचान के साथ खड़े हैं।“

ट्रेनिंग का समापन समारोह फरीदाबाद की जेल में किया गया और इस दौरान हरियाणा जेल के महानिदेशक के. सेल्वाराज, जिला जेल फरीदाबाद के अधीक्षक जयकिशन छल्लर, केंद्रीय जेल, अंबाला के सुपरिटेंडेंट लखबीर सिंह बरार और जिला जेल, पानीपत के अधीक्षक देवी दयाल जूम बैठक में मौजूद रहे। के. सेल्वाराज ने इस अवसर पर कहा कि यह जेलें बहुत जल्द अपने रेडियो के जरिए बंदियों के लिए संवाद का जरिया बनेंगी। इसमें रोजाना एक घंटे का कार्यक्रम होगा, जिसमें कानून, सेहत और संगीत से जुड़े कार्यक्रम होंगे। बंदी अपनी कविताएं और कहानियां भी सुनाएंगे।

बता दें कि भारत में जेल रेडियो की शुरूआत सबसे पहले 2013 में दिल्ली की तिहाड़ जेल में हुई थी। उस समय इस समारोह को देखने के लिए खुद वर्तिका नन्दा मौजूद थीं। प्रशासन की ओर से बताया गया है कि हरियाणा में कुल 19 जेलें हैं, जिनमें से 3 सेंट्रल जबकि 16 जिला जेल हैं। फिलहाल हरियाणा की जेलों में कुल 20,423 बंदी हैं जिनमें 900 से अधिक महिला बंदी शामिल हैं।