क्या सोनी सब के ‘पुष्पा इम्पॉसिबल’ में पुष्पा चॉल को तोड़ने से बचा पाएगी?

 

मुंबई। सोनी सब का शो पुष्पा इम्पॉसिबल दर्शकों के दिलों को छू रहा है, जहां पुष्पा (करुणा पांडे) की प्रेरणादायक यात्रा दिखाई जाती है, जो जीवन की चुनौतियों का सामना हिम्मत और आत्मबल के साथ करती है। हाल ही के एपिसोड्स में कहानी में बड़ा मोड़ आया है जब पुष्पा को अपनी बेटी राशि (देशना दुग्गड़) और अर्जुन शेखावत (तन्मय नागर) के रिश्ते के बारे में पता चलता है। अर्जुन, शंभू शेखावत (सुकेश आनंद) का बेटा है। शंभू पुष्पा को कपल की आपत्तिजनक तस्वीरें दिखाकर चौंका देता है और उसे एक दर्दनाक सच्चाई का सामना करने पर मजबूर कर देता है।

आगामी एपिसोड्स में भावनाएं और भी तीव्र होती जाएंगी जब राशि अर्जुन पर अपने विश्वास का बचाव करती है, उसे भरोसा है कि अर्जुन अपने पिता की चॉल को वापस पाने में मदद कर सकता है। अर्जुन एक साहसिक कदम उठाता है और अपने पिता के ऑफिस में घुसकर एक अहम फाइल ढूंढ निकालता है, जिससे यह साबित होता है कि मसाला फैक्ट्री असल में एक फुल मैन्युफैक्चरिंग यूनिट है। यह सबूत उनके कानूनी संघर्ष को एक नया मोड़ दे सकता है। हालांकि, जैसे ही आशा की किरण दिखाई देती है, कादंबरी एक बार फिर चालाकी से वापसी करती है। एक चौंकाने वाले ट्विस्ट में वह फाइल को बदल देती है और एक सख्त शर्त रखती है—वह असली फाइल तभी लौटाएगी और चॉल बचाने में तभी मदद करेगी जब जुगल (अंशुल त्रिवेदी) उससे शादी करने के लिए तैयार हो जाए, क्योंकि वह हमेशा से उसे ही अपना सच्चा प्रेम मानती रही है।

अब पुष्पा गहरे द्वंद्व में है—वह जुगल को इस निर्दयी शर्त की वजह से कष्ट में नहीं देख सकती, लेकिन चॉल का भविष्य भी दांव पर है। पुष्पा क्या रास्ता चुनेगी? क्या वह जुगल की खुशी की बलि देकर चॉल का भविष्य सुरक्षित करेगी, या क्या वह कादंबरी के इस क्रूर खेल को मात देने का कोई और रास्ता खोज पाएगी?

करुणा पांडे, जो शो में पुष्पा का किरदार निभा रही हैं, कहती हैं, “पुष्पा की यात्रा हमेशा कठिन सही को चुनने की रही है, आसान गलत के बजाय। आने वाले एपिसोड्स में उसका नैतिक दृष्टिकोण सच में चुनौती में पड़ जाता है—और इस संघर्ष को निभाते समय मैंने इसे गहराई से महसूस किया। ज़िंदगी में ऐसे पल आते हैं जब दिल और दिमाग दोनों अलग-अलग दिशा में खींचते हैं। पुष्पा अभी ऐसे ही एक भावनात्मक बंधन में है। वह नहीं चाहती कि जुगल किसी और की विकृत मंशा का शिकार बने, लेकिन उसे चॉल के भविष्य की भी ज़िम्मेदारी महसूस होती है। यह सिर्फ स्क्रीन का ड्रामा नहीं है—यह असल ज़िंदगी की उन उलझनों का आइना है जो हम सभी झेलते हैं। यही इस शो की खूबी है। यह असली जज़्बातों, असली फैसलों से जुड़ा हुआ है। और पुष्पा के ज़रिए मैं उन पलों को फिर से जी पाती हूं, जो हम सभी के दिल से जुड़ते हैं।”