रायपुर। छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित कांकेर जिले में सुरक्षा बलों को नक्सलियों के खिलाफ कार्रवाई में बड़ी कामयाबी मिली है। लोकसभा चुनाव के पहले चरण का प्रचार बंद होने से एक दिन पहले मंगलवार को सुरक्षा बलों ने 29 नक्सलियों को मार गिराया है। इनमें नक्सलियों के दो बड़े लीडर भी मारे गए हैं, जिनके ऊपर 25-25 लाख रुपए का इनाम था। मुठभेड़ में मारे गए सभी नक्सलियों के शव बरामद हो गए हैं। इस मुठभेड़ में सुरक्षा बलों के तीन जवान घायल हुए हैं। सुरक्षा बलों ने मौके से बड़ी संख्या में हथियार और गोला बारूद बरामद किया है।
यह मुठभेड़ कांकेर जिले के माड़ इलाके में हुई। सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में नक्सली लीडर शंकर राव भी मारा गया। राज्य के उप मुख्यमंत्री विजय शर्मा ने इस मुठभेड़ को बस्तर पुलिस का नक्सलवाद पर सर्जिकल स्ट्राइक बताया है। मुठभेड़ में सीमा सुरक्षा बल यानी बीएसएफ के इंस्पेक्टर रमेश चौधरी सहित तीन जवान घायल हुए हैं। इनमें दो डीआरजी के जवान हैं। घायल जवानों को हेलीकॉप्टर से रायपुर लाया गया। मौके से पांच एके-47 राइफल बरामद की गई।
गौरतलब है कि राज्य में पहले चरण में यानी 19 अप्रैल को बस्तर लोकसभा सीट पर मतदान होना है, जिसके लिए बुधवार को प्रचार बंद हो जाएगा। कांकेर में दूसरे चरण में 26 अप्रैल को वोटिंग होगी। बहरहाल, मुठभेड़ में मारे गए शंकर राव और ललिता माड़वी बड़े नक्सली लीडर थे। दोनों पर 25-25 लाख का इनाम घोषित था। बताया गया है कि सुरक्षा बलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ साढ़े पांच घंटे चली।
खुफिया विभाग के डीआईजी आलोक कुमार सिंह ने इसके बारे में जानकारी देते हुए बताया- पिछले कुछ दिनों से कांकेर इलाके में नक्सलियों की गतिविधियों के बारे में जानकारी मिली थी। इसके बाद पुलिस और बीएसएफ ने साझा अभियान की तैयारी की। इसी के तहत मंगलवार को कार्रवाई हुई। उन्होंने बताया कि नक्सलियों को दोपहर करीब एक बजे घेर लिया गया। दो बजे मुठभेड़ शुरू हुई और शाम को साढ़े सात बजे तक चली। मुठभेड़ के बाद सुरक्षा बलों ने नक्सलियों के शव भी बरामद भी किए।