नई दिल्ली। विधानसभा चुनाव से ठीक पहले भाजपा नेताओं के झुग्गी बस्तियों के दौरे पर मुख्यमंत्री आतिशी ने सवाल उठाए हैं। सोमवार को पार्टी कार्यालय में प्रेस वार्ता के दौरान आतिशी ने कहा कि भाजपा के नेता दिल्ली के अलग-अलग झुग्गी- झोपड़ी में जा रहे हैं। उनके साथ उठ रहे हैं, बैठ रहे हैं, बातचीत कर रहे हैं, फोटो खिंचवा रहे हैं। वह दिखाना चाह रहे हैं कि वो दिल्ली की झुग्गियों में रहने वालों की कितनी चिंता करते हैं और उनके लिए काम करना चाहते हैं, लेकिन आज दिल्ली की अलग-अलग झुग्गियों में रहने वाले अपने भाइयों और बहनों से कहना चाहूंगी कि भाजपा के इस दिखावे में मत आएं।
आतिशी ने कहा कि दिल्ली में रहने वाले भाई और बहनों से अपील है कि सलवार, कमीज, शॉल कोई बांटता हैं तो वह ले लो, लेकिन उनको वोट मत देना। उनको वोट मत देना क्योंकि सलवार कमीज, शॉल से और 500 रुपये से 5 साल का गुजारा नहीं चलता है। पांच साल का गुजारा चलता है तो वह है अरविंद केजरीवाल के काम से चलता है। आतिशी ने कहा भाजपा जो आज ड्रामा कर रही है यह भाजपा की सच्चाई नहीं है। सबसे पहले जिस झुग्गी में भाजपा वाले जाते हैं, कभी सम्मान यात्रा के नाम से, कभी रात्रि प्रवास के नाम से, जिस-जिस झुग्गी में वह रात बिताते हैं, उस झुग्गी को कुछ महीने बाद तोड़ने आ जाते हैं। इसके सैकड़ो उदाहरण दिल्ली के अलग-अलग हिस्सों में मिले हैं।
उन्होंने कहा कि सुंदर नगरी की जिन झुग्गी में भाजपा के नेता इसी तरह रात्रि प्रवास करने आए थे। उन्होंने वहां पर खाना खाया, वहां के बच्चों के साथ लूडो, कैरम खेलते हुए फोटो खींचे, अपने सोशल मीडिया पर डाली और तीन महीने बाद कड़ाके की सर्दी में कोर्ट से स्पेशल परमिशन लेकर सुंदर नगरी की झुग्गियों को तोड़ दिया। कड़ाके की ठंड में बच्चों की परीक्षाएं चल रही थी, परिवारों के पास रहने के लिए जगह नहीं थी, लेकिन भाजपा की केंद्र सरकार ने उन झुग्गी को तोड़ दिया, जहां पर कुछ महीने पहले वह प्रवास करने गए थे।
आतिशी ने कह कि जब यह भाजपा वाले वहां रहने जाते हैं तो इन झुग्गी में रहने वालों की लिस्ट बनती हैं। जिन-जिन के नाम और नंबर लिखती है उनके वोट कटवाने का काम करती है। हमने यह शाहदरा के अंबेडकर बस्ती में देखा। कुछ दिन पहले बस्ती के कई सारे लोग हमारे पार्टी कार्यालय आए और इन्होंने वोट कटवाने की जानकारी दी। उन्होंने यह सब दिखाया और कहा कि वह सालों से अंबेडकर बस्ती में रहते हैं। बताया कि भाजपा पार्टी वाले आए थे, हमारा नाम नंबर लेकर गए थे और उसके बाद भाजपा वालों ने उन लोगों के जिनके साथ खाना खाया। उनके नाम वोटर लिस्ट से कटवा दिए। उनका लोकतांत्रिक अधिकार छीन लिया गया।