राज्यसभा में नोटों की गड्डी का मामला: कांग्रेस की सीट से बरामद नोट, सभापति धनखड़ ने जताई नाराजगी, जांच जारी

नई दिल्ली।  राज्यसभा में गुरुवार को एक विवादास्पद घटना सामने आई जब कांग्रेस सांसद अभिषेक मनु सिंघवी की सीट से नोटों की गड्डी बरामद की गई। इस घटना के बाद संसद के अंदर और बाहर सियासी हंगामा खड़ा हो गया।

सभापति का कड़ा रुख
राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने इसे “गंभीर मामला” बताते हुए जांच के आदेश दिए। उन्होंने कहा,

“यह मामला मेरे संज्ञान में लाया गया है, और मैंने यह सुनिश्चित किया है कि इसकी पूरी जांच हो। जो भी दोषी होगा, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।”

खड़गे का बयान: नाम उजागर न हो
राज्यसभा में नेता विपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने मांग की कि जब तक जांच पूरी नहीं हो जाती, किसी भी सदस्य का नाम सार्वजनिक नहीं किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा,

“यह जरूरी है कि जांच निष्पक्ष और पारदर्शी हो। प्रामाणिकता स्थापित होने से पहले किसी पर आरोप लगाना अनुचित होगा।”

सिंघवी की सफाई
कांग्रेस सांसद और वकील अभिषेक मनु सिंघवी ने इस मामले में अपनी सफाई दी। उन्होंने कहा,

“मैंने इसके बारे में पहली बार सुना है। यह हास्यास्पद और दुखद है। कल मैं दोपहर 12:57 बजे सदन में पहुंचा और 1 बजे सदन से बाहर आया। इसके बाद मैं 1:30 बजे तक कैंटीन में था। यह स्पष्ट है कि कोई भी कहीं भी कुछ रख सकता है और आरोप लगा सकता है। जांच होनी चाहिए और सच्चाई सामने आनी चाहिए।”

सियासी हंगामा
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसद निशिकांत दुबे ने इस घटना को लेकर कांग्रेस पर निशाना साधा। वहीं, कांग्रेस ने इसे “साजिश” करार देते हुए कड़ी आपत्ति जताई। लोकसभा में इस मुद्दे पर कांग्रेस सदस्यों ने विरोध प्रदर्शन किया, जिसके चलते सदन की कार्यवाही को स्थगित करना पड़ा।

क्या है मामला?
राज्यसभा में नियमित सुरक्षा जांच के दौरान कांग्रेस सांसद अभिषेक मनु सिंघवी की सीट (सीट नंबर 222) से नोटों की गड्डी बरामद की गई। यह सीट तेलंगाना राज्य के प्रतिनिधि के तौर पर सिंघवी को आवंटित है।

राजनीति और आरोप-प्रत्यारोप
इस घटना ने संसद के मानसून सत्र के दौरान राजनीति को गरमा दिया है।

कांग्रेस का रुख: यह सरकार द्वारा विपक्ष को बदनाम करने की साजिश है।
भाजपा का आरोप: यह भ्रष्टाचार का मामला है, जिसकी पूरी जांच होनी चाहिए।