Hariyali Teej 2021 : धार्मिक मान्यताओं के साथ खुशी का त्योहार

सावन के शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को 'हरियाली तीज' का पर्व मनाया जाता है, जिसे कि 'सावन की तीज' या 'कजली तीज' भी कहते हैं। 'हरियाली तीज' 11 अगस्त को है।

नई दिल्ली। यूं तो हर त्योहार खुशी लेकर आता है, वैसे में जब कोई त्योहार अपने पिया की लंबी उम्र की कामना के लिए हो, तो खुशी कई गुना बढ़ जाती है। आज हरियाली तीज है। सुहागिनें भगवान शिव और पार्वती की पूजा करके अपने सुहाग के लिए मन्नत मांगती है। उत्तर भारत से लेकर पूर्व के कई राज्यों में यह त्योहार मनाया जाता है।
यह पर्व हर साल श्रावण मास शुक्ल पक्ष की तृतीया तिथि को मनाया जाता है।कहा जाता है कि हरियाली तीज के दिन ही भगवान शिव ने पार्वती जी को पत्नी के रूप में स्वीकार करने का वरदान दिया था। इस दिन जो भी कन्या पूरे श्रद्धा भाव से व्रत रखती है उसके विवाह में आ रही बाधाएं दूर होती हैं।


शास्त्रों में है कि मां पार्वती ने शिव जी को पति रूप में पाने के लिए 107 जन्म लिए और शिव जी का वरण करने के लिए कठोर तपस्या की। किंतु वैरागी शिव सब भुलाकर तपस्या में रत थे। शिव जी के मन में मोह उत्पन्न नहीं हुआ। तब माता पार्वती ने 108वें जन्म में कठोर तप किया और अंतत: शिव उनके लिए प्रकट हुए। इस प्रकार शिव-पार्वती का विवाह हुआ।श्रावण मास की शुक्ल पक्ष की तृतीया अर्थात हरियाली तीज को विशेष रूप से दाम्पत्य सुख-संपदा का उत्सव मनाया जाता है।
राजस्थान, मध्यप्रदेश में इसे ‘सिंजारा तीज’ के नाम से भी जाना जाता है क्योंकि इस दिन नवविवाहित महिलाओं के लिए मायके से सिंजारा भेजा जाता है।