तिरंगे के अपमान पर राष्ट्रपति भी दुखी, संसद में अभिभाषण में कही बातें

राष्ट्रपति ने 26 जनवरी को प्रदर्शनकारी किसानों की ट्रैक्टर परेड के दौरान लाल किले पर धार्मिक ध्वज फहराए जाने की घटना की पृष्ठभूमि में शुक्रवार को कहा कि संविधान हमें अभिव्यक्ति की आजादी का अधिकार देता है, वही संविधान हमें सिखाता है कि कानून और नियम का भी उतनी ही गंभीरता से पालन करना चाहिए।

नई दिल्ली। दिल्ली की सीमाओं पर किसान आंदोलन जारी है। इस पर खूब सियासत हो रही है। लेकिन जिस प्रकार से 26 जनवरी को गणतंत्र दिवस के दिन ऐतिहासिक लाल किले की प्राचीर पर आंदोलनकारियों ने तिरंगे का अपमान किया, उसका दुख देश के महामहिम को है। अपनी दुख का इजहार उन्होंने आज संसद सत्र में अपने अभिभाषण में किया।

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने सीधे तौर पर कहा कि गणतंत्र दिवस पर तिरंगे का अपमान बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है। राष्ट्रपति ने 26 जनवरी को प्रदर्शनकारी किसानों की ट्रैक्टर परेड के दौरान लाल किले पर धार्मिक ध्वज फहराए जाने की घटना की पृष्ठभूमि में शुक्रवार को कहा कि संविधान हमें अभिव्यक्ति की आजादी का अधिकार देता है, वही संविधान हमें सिखाता है कि कानून और नियम का भी उतनी ही गंभीरता से पालन करना चाहिए।

बता दें कि किसानों के आंदोलन के मुद्दे को लेकर विपक्षी दल कांग्रेस समेत करीब 20 पार्टियों ने राष्ट्रपति के अभिभाषण का बहिष्कार किया है। संभवतः यह इतिहास की पहली घटना है जब महामहिम के अभिभाषण का विपक्षी दलों ने इस प्रकार बहिष्कार किया हो। इस संदर्भ में भी राष्ट्रपति ने कहा कि व्यापक विमर्श के बाद संसद ने सात महीने पूर्व तीन महत्वपूर्ण कृषि सुधार, कृषक उपज व्यापार और वाणिज्य (संवर्धन और सरलीकरण) विधेयक, कृषि (सशक्तीकरण और संरक्षण) कीमत आश्वासन और कृषि सेवा करार विधेयक, और आवश्यक वस्तु संशोधन विधेयक पारित किए हैं। उन्होंने यह भी कहा कि इन कृषि सुधारों का सबसे बड़ा लाभ भी 10 करोड़ से अधिक छोटे किसानों को तुरंत मिलना शुरू हुआ। छोटे किसानों को होने वाले इन लाभों को समझते हुए ही अनेक राजनीतिक दलों ने समय-समय पर इन सुधारों को अपना भरपूर समर्थन दिया था।

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने कहा कि मेरी सरकार यह स्पष्ट करना चाहती है कि तीन नए कृषि कानून बनने से पहले, पुरानी व्यवस्थाओं के तहत जो अधिकार थे तथा जो सुविधाएं थीं, उनमें कहीं कोई कमी नहीं की गई है। बल्कि इन कृषि सुधारों के जरिए सरकार ने किसानों को नई सुविधाएं उपलब्ध कराने के साथ-साथ नए अधिकार भी दिए हैं। उन्होंने यह भी बताया कि कृषि को और लाभकारी बनाने के लिए मेरी सरकार आधुनिक कृषि इंफ्रास्ट्रक्चर पर भी विशेष ध्यान दे रही है। इसके लिए एक लाख करोड़ रुपये के एग्रीकल्चर इंफ्रास्ट्रक्चर फंड की शुरुआत की गई है।