नहीं रहे दिल्ली के जाने माने डाॅक्टर केके अग्रवाल, एम्स में ली आंखिरी सांस

हार्टकेयर फाउंडेशन के अध्यक्ष डाॅ केके अग्रवाल की कोरोना से मौत हो गई। चिकित्सा क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए उन्हें भारत सरकार की ओर से पद्मश्री अवार्ड भी दिया जा चुका था।

नई दिल्ली। हृदय रोग के जाने माने डाॅक्टर के के अग्रवाल ने अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान में आखिरी सांस ली। वो बीते कुछ दिनों से कोरोना से संक्रमित थे और एम्स में भर्ती थे। एम्स की ओर से कहा गया कि उन्होंने बीती रात 12 बजे के करीब आखिरी सांस ली।

दिल्ली के आम लोगों के साथ ही मीडियाकर्मियों के लिए यह एक अपूरणीय क्षति है। मीडियाकर्मियों के लिए वो काफी सुलभ थे। कई पत्रकारों का कहना है कि दिल्ली ने अपना डॉक्टर गंवा दिया। कई पत्रकारों ने उन्हें अपनी श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए लिखा है कि उनके जाने से अजीब रिक्तता पैदा हो गयी है। न जाने यह कैसे भर पायेगा।

वरिष्ठ पत्रकार आलोक कुमार ने अपने सोशल मीडिया पर लिखा है कि जब डॉक्टरी सेवा से अधिक धंधा बन गया है । तब एक डॉक्टर के के अग्रवाल थे जिन्हें मुझ जैसी हजारों आवाजें कभी भी राहत के लिये पुकार सकती थी। गजब के परोपकारी थे। हौले से मूलचंद बुलाते, ठीक होने का भरोसे वाला परामर्श देकर ही छुटकारा देते। जरुरी होता तो रेफरेन्स देने की कहने के बजाय सम्बंधित डॉक्टर को सीधे फोन कर देते। उनसे मुलाकात 1998-99 की है ।

बाद में स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर सी पी ठाकुर ने आम जन तक डॉक्टरी सेवा पहुँचाने के लिये हेल्थ मेला की शुरुआत की । दिल्ली में हेल्थ मेला को सफल बनवाने में डॉक्टर के के अग्रवाल का महत्वपूर्ण योगदान रहा । जब टेली मेडिसीन और टेली परामर्श का दौर आया तो डॉ. अग्रवाल नौजवान की तरह सबसे आगे खड़े हो गये । अफसोस कि अब नहीं रहे। कोरोना ने उनको भी छीन लिया। डॉक्टर बहुत याद आएंगे, आप । विनम्र श्रद्धांजलि।