रांची। केंद्रीय चुनाव आयोग की अनुशंसा पर राज्यपाल रमेश बैस मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की विधायक से सदस्यता रद्द करने वाले हैं। कभी भी इस संबंध में अधिसूचना जारी की जा सकती हैं। संभावित घटनाओं के आकलन और उसके बाद की स्थिति के लिए मुख्यमंत्री हेमंत सोरेने अपने विधायकों और सहयोगी दलों के नेताओं के साथ लगातार बैठक कर रहे हैं।
कांग्रेस नेता और राज्य के मंत्री बन्ना गुप्ता का कहना है कि हम यहां की सरकार को बचाना चाहते हैं क्योंकि जनता ने यहां की सरकार को जो बहुमत दिया है उसकी भाजपा अपमान कर रही है। हम जनता के लिए काम कर रहे हैं और उसी से बीजेपी घबराई हुई है। जब राज्य विकास की ओर जा रहा है तो बीजेपी के पेट में दर्द हो रहा है और दर्द है तो वह किसी भी प्रकार से यहां की सरकार को गिराना चाहती है।
यह आदिवासी का बेटा है। इनकी चाल से हमारा न कभी रास्ता रुका है, न हम लोग कभी इन लोगों से डरे हैं।
हमारे पूर्वजों ने बहुत पहले ही हमारे मन से डर-भय को निकाल दिया है। हम आदिवासियों के डीएनए में डर और भय के लिए कोई जगह ही नहीं है। pic.twitter.com/0PAks18iJF— Hemant Soren (@HemantSorenJMM) August 26, 2022
झारखंड कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष बंधु तिर्की ने कहा कि झारखंड प्रदेश की राजनीति अन्य प्रदेशों से बिल्कुल अलग है। BJP यहां की राजनीति को दूषित करने की कोशिश कर रही है। चुनाव आयोग का जो रिपोर्ट बंद लिफाफे में आता है जो कि खुला भी नहीं है लेकिन उससे पहले ही सब लीक हो जा रहा है। गठबंधन सरकार के हालिया फैसलों से आदिवासी क्षेत्रों में इनकी(BJP) जमीन उखड़ जाएगी इसलिए इनमें छटपटाहट है। ये जब से गठबंधन की सरकार बनी है तब से इस सरकार को अस्थिर करने की कोशिश कर रहें। जब कभी यहां का CM आदिवासी से बना है तो उसका कार्यकाल पूरा होने नहीं दिया गया है।
राजद कोटे से मंत्री सत्यानंद भोक्ता ने कहा कि राज्य की जो राजनीतिक परिस्थितियां हैं उस पर चर्चा की गई। महागठबंधन के सभी 51 विधायक एकजुट हैं। सरकार को कोई खतरा नहीं है। सरकार चल रही है और आगे भी चलेगी। विधायकों के प्रति सभी को विश्वास हैं। कोई कहीं बाहर दूसरे राज्य नहीं जा रहे हैं।